Thursday, 22 September 2011
Tuesday, 20 September 2011
raj comics august 2011 set
New set me 3 New and 4 Digest publish hui hen.
Mrityujivi (Nagraj)- 50/-
Alter Ego (Dhruva)-30/-
Kulakshani Mani( Bankelal)-30/-
Bankelal Digest-2-100/-
Nagraj Digest-7-50/-
Dhruva Digest-4-50/-
Doga Digest-4-40/-
New set delhi me kal(30 Aug 2011) release ho raha hai. Delhi Book Fair me bhi kal New set available hoga. Delhi Book Fair me sirf RC fans ke liye 20% discount diya ja raha hai.
Visit us in 16th Delhi Book Fair 2010 from 25th Dec to Jan 2nd. We are in stall No. 3, Hall No. 12, Pragati Maidan, New Delhi. Meet lots of other Comics fans. Rare chance to complete your comics collection as we are carrying complete stock of all available Raj Comics. You will also find a huge selection of other Raja Pocket books publications. Avail 10% discount on all purchase.
Wednesday, 14 September 2011
RONIN - Nagraj Comics Free Download
Format: Printed |
Issue No: SPCL-2400-H |
Language: Hindi |
Author: Sanjay Gupta/Tarun Kumar Wahi |
Penciler: Hemant |
Inker: Jagdeesh |
Colorist: Praveen Singh |
Pages: 48 |
जापान में रचा गया है एक गहरा षड़यंत्र. जिसकी शुरुआत हुई नागराज की इटली में हत्या से. अपनी हत्यारिन कियो की तलाश में जापान आया नागराज और उस षड़यंत्र में फंस कर रह गया. |
Rs 30.00 Rs 25.50 You Save: 15.00% |
GOLDEN RACER
Format: Printed |
Issue No: SPCL-2401-H |
Language: Hindi |
Author: Vivek Mohan |
Penciler: Dildeep singh |
Inker: Sagar Thapa |
Colorist: Shadab |
Pages: 48 |
सूरज और अदरक चाचा के बीच वैचारिक मतभेद इतना बढ़ गया की अब अदरक चाचा अपना सारा समय जिम से दूर अपने लाफ्टर क्लब के वृद्ध दोस्तों के साथ गुजारते हैं. उधर शहर के सीनियर सिटीजंस पर सीरियल किलर युवा के हमले जारी हैं. युवा जो कि अपने जुर्म का कोई निशान नहीं छोड़ता का अगला निशाना हैं अदरक चाचा के एक वृद्ध मित्र गोल्डन रेसर हिल्का सिंह. युवा इस बार भी अपना निशाना साध लेगा या डोगा कर देगा उसे नाकाम? |
Rs 30.00 Rs 25.50 You Save: 15.00% |
PREM SHRADH
Format: Printed |
Issue No: SPCL-2402-H |
Language: Hindi |
Author: Tarun kumar wahi |
Penciler: Aadil Khan |
Inker: Lakshmin, Sagar Thapa |
Colorist: Shadab, Govind |
Pages: 48 |
आसाम के जंगलों में एक नर पिशाच भेडिये ने आतंक मचाया हुआ है. उसके आतंक से डर के जंगल का जल्लाद कोबी भी छुप गया है और भेड़िया उसे रोकने में नाकाम हो रहा है. जेन भेड़िया और सुकन्या के अमरप्रेम से परेशान हो कर जॉन का सहारा लेती है जिसके कारण जंगल में आ जाती है एक बड़ी मुसीबत जिससे बचने के लिए पूरे जंगल को करना पड़ता है संघर्ष. क्या इस बार कोबी और भेड़िया का अंत होने वाला है? |
Rs 30.00 Rs 25.50 You Save: 15.00% |
KAMIKAZE - Nagraj Comics Free Download
Format: Printed |
Issue No: SPCL-2405-H |
Language: Hindi |
Author: Sanjay Gupta/Tarun Kumar Wahi |
Penciler: Hemant |
Inker: Jagdeesh |
Colorist: Shadaab |
Pages: 48 |
जापान का एक धरम गुरू, जो आतंकवाद फैलाने के जुर्म में जापान की जेल में कैद है| उसे कुछ जापानी सूरमा मारना चाहते हैं तो कुछ दिग्गज उसे बचाना चाहते हैं| शांतिप्रिय जापान को वीनाश के बादलो ने घेर लिया है, अब नागराज ही जापान को इस षड़यंत्र से बचा सकता है| |
Rs 30.00 Rs 25.50 You Save: 15.00% |
Free Download Link : http://www.mediafire.com/?wtt9hccwem9r5mt
VAN RAKSHAK
Format: Printed |
Issue No: SPCL-2406-H |
Language: Hindi |
Author: Tarun Kumar Wahi, Sanjay Gupta |
Penciler: Aadil |
Inker: Sagar Thapa |
Colorist: Govind, Suneel |
Pages: 48 |
कैसे बना प्रकर्ति का एक भक्षक, प्रकर्ति का रक्षक? एक वन रक्षक की महागाथा| वन रक्षक भेड़िया की उद्गम श्रंखला| |
Rs 30.00 Rs 25.50 You Save: 15.00% |
MAHAGURU BHOKAL
Format: Printed |
Issue No: SPCL-2407-H |
Language: Hindi |
Author: Tarun Kumar Wahi |
Penciler: Ramashish |
Inker: Gaurav Shrivastava |
Colorist: Anwar |
Pages: 48 |
परियो ने कर लिया है देवपुत्रों से विवाह. लेकिन श्राप के कारण देवपुत्रों ने खो दी है अपनी अमरता. अब देवपुत्र वृद्ध हो कर मृत्यु को प्राप्त हो जायेंगे. परियों की सुरक्षा के लिए अब जरुरत है एक रक्षक की.. और रक्षक आसानी से पैदा नहीं होते और तब तो बिलकुल नहीं जब आप देवताओं के श्राप से ग्रसित हो कर पुत्र उत्पत्ति में असमर्थ हों. |
Rs 30.00 Rs 25.50 You Save: 15.00% |
TOMO
Format: Printed |
Issue No: SPCL-2410-H |
Language: Hindi |
Author: Sanjay Gupta, Tarun Kumar Wahi |
Penciler: Hemant |
Inker: Gaurav Shrivastava |
Colorist: Sunil |
Pages: 48 |
कियो जापानी मार्शल आर्ट्स की एक एक्सपर्ट फाइटर, जिसे उसके गुरु ने मार्शल आर्ट्स की सबसे बड़ी कला ड्रेगन फाइटिंग सिखाई. वो अपने गुरु को छोड़ कर जापान के सबसे बड़े गेंग याकुजा में शामिल हो गयी और उनके आदेश पर कियो ने नागराज की हत्या कर दी. लेकिन ना जाने कैसे नागराज जिन्दा है और एक बार फिर कियो और नागराज आमने- सामने हैं. |
Rs 30.00 Rs 25.50 You Save: 15.00% |
STATUE
Format: Printed |
Issue No: SPCL-2411-H |
Language: Hindi |
Author: Jolly Sinha |
Penciler: Anupam Sinha |
Inker: Vineet Sidhartha |
Colorist: Sunil |
Pages: 64 |
राज नगर में आ गए हैं पांच अद्धभुत शक्ति धारक बौने शैतान जो जिसको भी बोल देते हैं statue वो बन जाता है उनका गुलाम और फिर उनके आदेश पर वो हत्या जेसे संगीन अपराध करने से भी नहीं झिझकता. इन बदमाशो ने बोल दिया हे नताशा को statue . नताशा को अपराध करने से रोक रहा है सुपर कमांडो ध्रुव. तो क्या नताशा कर देगी ध्रुव की हत्या? |
Rs 40.00 Rs 34.00 You Save: 15.00% |
GOLDEN HERO
Format: Printed |
Issue No: SPCL-2412-H |
Language: Hindi |
Author: Vivek Mohan |
Penciler: Studio Image |
Inker: Sagar Thapa |
Colorist: Shadaab, Suneel |
Pages: 48 |
बुजुर्गो के हत्यारे युवा ने एक बार फिर हमला बोल दिया है. इस बार उसके निशाने पर है अदरक चाचा का एक और दोस्त गोल्डन हीरो. क्या डोगा उन्हें बचा पायेगा? |
Rs 30.00 Rs 25.50 You Save: 15.00% |
SHIKATA-GA-NAI - Nagraj Comics Free Download
Format: Printed |
Issue No: SPCL-2415-H |
Language: Hindi |
Author: Sanjay Gupta/Tarun Kumar Wahi |
Penciler: Hemant |
Inker: Gaurav |
Colorist: Shadaab |
Pages: 48 |
Shikata ga nai यानि कुछ नहीं किया जा सकता. द्वित्य विश्व युद्ध के पश्चात allied forces के जापान पर कब्जे के बाद हर जापान वासी यही निराशावादी वचन बोलने लगा था. इसका मुहतोड़ जवाब देने के लिए जापान के धार्मिक संगठन ॐ के गुरु कोशिमासा ने बनाये विध्वंसक हथियार. अमेरिका पर हो गया हमला शुरू. क्या इस बार ख़तम होगा अमेरिका या फिर होगा तीसरा विश्वयुद्ध? क्या नागराज शान्तिप्रिये जापान को एक आतंकवादी देश बनने से रोक पायेगा? |
Rs 30.00 Rs 25.50 You Save: 15.00% |
Free Download Link : http://www.mediafire.com/?ock37act8zhhl1v
GAME-OVER
Format: Printed |
Issue No: SPCL-2419-H |
Language: Hindi |
Author: Anupam Sinha, Jolly Sinha |
Penciler: Anupam Sinha |
Inker: Vineet Sidharth |
Colorist: Sunil, Shadaab |
Pages: 64 |
पांच चमत्कारी बोनो के आतंक में जकड़ा हुआ है राजनगर. नताशा भी उनकी गुलाम बन कर अपने ही पिता ग्रेंड मास्टर रोबो की जान की दुश्मन बन गयी है. उन्हें रोकने के लिए पहुंचा सुपर कमांडो ध्रुव भी बना दिया गया है statue . क्या ध्रुव कर पायेगा इनका game over ? |
Rs 40.00 Rs 34.00 You Save: 15.00% |
OLD-IS-GOLD
Format: Printed |
Issue No: SPCL-2420-H |
Language: Hindi |
Author: Vivek Mohan |
Penciler: Studio Image |
Inker: Sagar Thapa |
Colorist: Sunil |
Pages: 48 |
सनकी हत्यारे युवा द्वारा की जा रही वृद्ध नागरिकों की निरंतर हत्याओं को रोक पाने में असमर्थ डोगा भी घोर निराशाओं में डूब चूका है. इस बार युवा ने निशाना बनाया है अदरक चाचा के एक और दोस्त वेंकट को. क्या डोगा वेंकट को बचा पायेगा या युवा इस बार भी कामयाब हो जायेगा? |
Rs 30.00 Rs 25.50 You Save: 15.00% |
GENIUS - Super Comando Dhruv free download
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Free Download Link : http://www.mediafire.com/?4a9a1j8iecvlits
Password : rajcomicsbooks.blogspot.com
SHAPIT RAKSHAK
Format: Printed |
Issue No: SPCL-2423-H |
Language: Hindi |
Author: Sanjay Gupta/Tarun Kumar Wahi |
Penciler: Sushant Panda |
Inker: Sushant Panda |
Colorist: Sunil |
Pages: 48 |
यूँ तो वो सदा से एक रक्षक ही था. रक्षा ही करता आ रहा था लेकिन उसे भी नहीं पता था की एक शाप उसका पीछा कर रहा हे. एक गलती हुई और वो बन गया शापित रक्षक. लेकिन रक्षा धरम का पालन करने के लिए वो उस भयानक शाप से भी जूझ गया. |
Rs 30.00 Rs 25.50 You Save: 15.00% |
ABHISHAPT - Nagraj, Doga Aur Bhediya Comics Free Download
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Format: Printed |
Issue No: SPCL-2425-H |
Language: Hindi |
Author: Sanjay Gupta/Tarun Kumar Wahi |
Penciler: Hemant |
Inker: Jagdeesh |
Colorist: Shadab/Sunil |
Pages: 80 |
देवराज इन्द्र ने बनाया था उसे उत्परिवर्ती यानि की Mutant. उसकी दहशत से कांप उठी थी धरती. तब देवराज इन्द्र की वज्र शक्ति ने उसे मृत्यु दी. लेकिन उसकी शक्तियां फिर जाग उठीं. कुछ लोगों को मिल गयी हें वो अतिशाक्तियाँ. जिन्हें वो वरदान मान बेठे, लेकिन वो अतिशाक्तियाँ बनने जा रही हें अभिशाप. जो समझ बेठे थे खुद को शक्तिमान अब साबित हो रहे हें अभिशप्त. क्या अतिशाक्तियाँ वरदान हें या हें अभिशाप? क्या नागराज डोगा और भेड़िया भी हें अभिशप्त? इस सवाल पर दुनिया उनके विरुद्ध होने जा रही हे क्योंकि अब हर पृथ्वीवासी बन रहा हे Mutant यानी उत्परिवर्ती यानी अभिशप्त. |
Rs 50.00 Rs 42.50 You Save: 15.00% |
Free Download Link : http://www.mediafire.com/?qolfjk8jyt2qktw
Ambreesh - Amaging Friends Of Nagraj Free Download
Format: Printed |
Issue No: SPCL-2426-H |
Language: Hindi |
Author: Vivek Mohan |
Penciler: Narayan |
Inker: Narayan |
Colorist: Sunil |
Pages: 24 |
नाग वीरांगना विसर्पी की एक और अग्निपरीक्षा बन कर आया एक ऐसा योधा जिसने अमर होने के लिए जो चाल चली वही उसकी मृत्यु का कारण बनी. |
Rs 20.00 Rs 17.00 You Save: 15.00% |
Free Download Link :http://www.mediafire.com/?kph0pcixhbf8pyn
Monday, 12 September 2011
Fairo - Amaging friend of nagraj free download
FAIRO |
Format: {link}eComics{/link} |
Issue No: SPCL-2427-H-EC |
Language: Hindi |
Author: Vivek Mohan |
Penciler: Sushant Panda |
Inker: Sushant Panda |
Colorist: Basant Panda |
Pages: 24 |
जन्म जन्मान्तर से नागराज के प्रेम की दीवानी सोडांगी करने जा रही है फैरो से विवाह. इस विवाह का सबसे बड़ा दुश्मन बना है नागराज. नागराज के प्रतिरोध करने पर सोडांगी ने महासर्प एपोफिस को जगा दिया है नागराज को देने के लिया मृत्युदंड. |
Rs 20.00 Rs 12.00 You Save: 40.00% |
VISHYA - Amaging Friends Of Nagraj Free Download
Format :Printed
Issue No: SPCL-2428-H
Language: Hindi
Author: Vivek Mohan
Penciler: Narayan
Inker: Narayan
Colorist: Basant Panda
Pages: 24
महात्मा कालदूत के तीन रूपों में से एक विषया. भविष्य का कालकूट विषधारक इच्छाधारी मान्त्रिक सर्प. भविष्य के एक ऐसे रक्षक की कहानी जो अपने कर्तव्य को भावनाओं से ऊपर रखता है. नागलोक को संकट से बचाने के लिए अपने प्रेम का त्याग कर दिया उसने. इसी कारण उसका प्रेम उसके लिए विष बन गया. किन्तु इस रक्षक को कोई प्रलय भी नहीं रोक सकती. अपनी ही प्रेमिका की खिंची हुई प्रत्यंचा को भी ललकार कर चल दिया हे विषया.
Free Download Link : http://www.mediafire.com/?s4r61e4jsiid66n
Issue No: SPCL-2428-H
Language: Hindi
Author: Vivek Mohan
Penciler: Narayan
Inker: Narayan
Colorist: Basant Panda
Pages: 24
महात्मा कालदूत के तीन रूपों में से एक विषया. भविष्य का कालकूट विषधारक इच्छाधारी मान्त्रिक सर्प. भविष्य के एक ऐसे रक्षक की कहानी जो अपने कर्तव्य को भावनाओं से ऊपर रखता है. नागलोक को संकट से बचाने के लिए अपने प्रेम का त्याग कर दिया उसने. इसी कारण उसका प्रेम उसके लिए विष बन गया. किन्तु इस रक्षक को कोई प्रलय भी नहीं रोक सकती. अपनी ही प्रेमिका की खिंची हुई प्रत्यंचा को भी ललकार कर चल दिया हे विषया.
Free Download Link : http://www.mediafire.com/?s4r61e4jsiid66n
PRATISHODH - Amaging Friends Of Nagraj Free Download
Format: Printed
Issue No: SPCL-2429-H
Language: Hindi
Author: Vivek Mohan
Penciler: Narayan
Inker: Narayan
Colorist: Shadaab
Pages: 24
नागद्वीप की रक्षा का भार है युवराज्ञी विसर्पी के कन्धों पर. नागद्वीप पर कब्जा करने के लिए उसकी दुश्मन बनी है उसकी अपनी बुआ सुरसर्पा. इस महायुद्ध में विसर्पी का साथ देने आये हैं पंचनाग. लेकिन पलड़ा अभी सुरसर्पा का भारी है. तांत्रिक शक्तियां निर्मम और हिंसक हैं.
Free Download Link : http://www.mediafire.com/?7tdr8d6mxnjvd19
Issue No: SPCL-2429-H
Language: Hindi
Author: Vivek Mohan
Penciler: Narayan
Inker: Narayan
Colorist: Shadaab
Pages: 24
नागद्वीप की रक्षा का भार है युवराज्ञी विसर्पी के कन्धों पर. नागद्वीप पर कब्जा करने के लिए उसकी दुश्मन बनी है उसकी अपनी बुआ सुरसर्पा. इस महायुद्ध में विसर्पी का साथ देने आये हैं पंचनाग. लेकिन पलड़ा अभी सुरसर्पा का भारी है. तांत्रिक शक्तियां निर्मम और हिंसक हैं.
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AVSHESH - Nagraj Aur Dhruv Free Download
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Format: Printed |
Issue No: SPCL-2430-H |
Language: Hindi |
Author: Anupam Sinha, Jolly Sinha |
Penciler: Anupam Sinha |
Inker: Vineet Sidhartha, Sagar Thapa |
Colorist: Shadab, Sunil |
Pages: 80 |
राजनगर के समुद्र से बाहर निकलते हें एक पुरानी नगरी के अवशेष. इन अवशेषों में घटने लगती हें रहस्मयी घटनाएँ जिसका असर पड़ रहा हे राजनगर और महानगर के निवासियों की जिंदगी पर. नागराज और ध्रुव महानगर और राजनगर को बचाने के लिए पहुँच जाते हें उन अवशेषों पर जो पूरी दुनिया को बनाने पर तुले हें अवशेष. |
Rs 50.00 Rs 42.50 You Save: 15.00% |
Free Download Link : http://www.mediafire.com/?pb0cs3180c201j2
PARAM VISHYA - Amaging Friends Of Nagraj Free Download
Format : Printed
Issue No: SPCL-2433-H
Language: Hindi
Author: Vivek Mohan
Penciler: Dildeep
Inker: Gaurav
Colorist: Mohan Prabhu
Pages: 48
महात्मा कालदूत एक रहसयमयी इच्छाधारी नागमानव. विषया, परमविषया और महाविषया तीन महानागो को संगठित रूप. केसे निर्मित हुई यह महासंधि? क्या-क्या संघर्ष करने पड़े महात्मा कालदूत को अपने जीवनकाल में इसी पर आधारित हें २०-२० पेजिस की ये संयुक्त कॉमिक्स परमविषया और कालसर्प.
Free Download Link : http://www.mediafire.com/?40n4dzrz1rgtw9l
8:36
Format: Printed |
Issue No: SPCL-2435-H |
Language: Hindi |
Author: Nitin Mishra |
Penciler: Hemant |
Inker: Sagar Thapa, Lakshmin |
Colorist: Sunil |
Pages: 48 |
8 :36 में इस बार हम आपको दे रहे हें डोगा की २० -२० पेजिस की दो कॉमिक्स 8 :36 और मातरभूमि. 8 :36 : 26 -11 -2008 की आतंकवादी घटना के बाद 26 -11 -2009 को भी आतंकवादियों ने मुंबई में एक और आतंकवादी घटना को अंजाम देने की साजिश रची. इस बार निशाने पर था पूरा हिन्दुस्तान. लेकिन मुंबई का रक्षक डोगा चौक्कन्ना था. डोगा के हाथ लगा एक आतंकवादी जिसने डोगा को अपनी योजना बताने से पहले ही जहर खा कर आत्महत्या कर ली. अब डोगा के पास हें उसके कहे कुछ शब्द और उसका password protcted laptop . डोगा को मुंबई और हिंदुस्तान को बचाने के लिए मिले हें कुछ ही घंटे. मातरभूमि : अलगाववाद की आग में झुलस पड़ा हे मुंबई. मुंबई मराठी मानुस का हे या हे उत्तरभारतीयो को जो वहां रोजी रोटी कमाने के लिए आते हें. भूमि और भावनाओ की इस लडाई में कूद पड़ा हे डोगा भी. |
Rs 30.00 Rs 25.50 You Save: 15.00% |
AAHUTI
Format: Printed |
Issue No: SPCL-2441-H |
Language: Hindi |
Author: Tarun Kumar Wahi, Sanjay Gupta |
Penciler: Sushant Panda |
Inker: Sushant Panda |
Colorist: Sunil |
Pages: 48 |
यह कथा शुरू होती हे सन 7009 के कोबी से जिसे प्रकर्ति की चमत्कारी शक्तियां प्राप्त थीं. किन्तु उससे खुद प्रकर्ति द्वारा वो शक्तियां छीन ली जाती हें. कोबी से अनजाने में जीवित हो उठा हे एक युगों पुराना शाप. पूरी पृथ्वी नष्ट होने की कगार पर हे. अब वन रक्षक कोबी को उस शाप की काट की तलाश हे. जिसके लिए उसे पृथ्वी के विनाश से पहले अपना युगों पुराना इतिहास जानना हे. उसका संघर्ष शाप से हे और एक गहरे षड्यंत्र से हे. दोनों ही उसके प्राणों के प्यासे हें. अपने पूर्वजों का पीड़ादायक इतिहास जानते हुए वो ये समझ चुका हे की आत्मशुद्धि के लिए उसे देनी ही होगी आहुति. |
Rs 30.00 Rs 25.50 You Save: 15.00% |
BUDHIHARI KHAJANA
SHUBH MANGAL SAVDHAN
Format: Printed |
Issue No: SPCL-2443-H |
Language: Hindi |
Author: Sushant Panda |
Penciler: Sushant Panda |
Inker: Sushant Panda |
Colorist: |
Pages: 48 |
बांकेलाल जा पहुंचा जंगल में आम खाने के लिए. जहाँ उसे मिली एक चुड़ैल जिसे करनी थी किसी ताकतवर राजा से शादी क्योंकि उसका पूर्वपति उसके होने वाले पति की हत्या कर देता था और उसे सुहागिन होने का सुख प्राप्त नहीं होने देना चाहता था. बांकेलाल राजा विक्रमसिंह को चुड़ैल से भिडवा देता हे और करवा देता हे उन दोनों का विवाह. अब चुड़ैल का पूर्वपति भयानक राक्षस विक्रमसिंह की हत्या करने पहुँच गया हे. देखते हें की इस बार यह विवाह विक्रमसिंह के लिए शुभ होता हे या बांकेलाल के लिए. |
Rs 30.00 Rs 25.50 You Save: 15.00% |
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